दालमंडी सड़क चौड़ीकरण - भारी पुलिस बल के साथ आज से फिर ध्वस्तीकरण शुरू
वाराणसी - दालमंडी सड़क चौड़ीकरण परियोजना के तहत सोमवार को एक बार फिर तोड़फोड़ की कार्रवाई शुरू हो गई. नगर निगम, पीडब्ल्यूडी और पुलिस की भारी फोर्स के साथ बुलडोजर व हथौड़ों से दो मकानों की छत, दीवारें व खिड़कियां तोड़ी गईं. सुबह से ही दशाश्वमेध, चेतगंज व आदमपुर थानों की पुलिस मौके पर तैनात रही. एसीएम सिटी और वीडीए अधिकारियों ने माइक से बार-बार मुनादी कर दुकानदारों से सामान हटाने और दुकानें खाली करने को कहा. ज्यादातर दुकानदार पहले ही अपना सामान बाहर निकाल चुके थे, इसलिए खुलकर विरोध नहीं हुआ, लेकिन व्यापारियों में गहरा रोष है.
परियोजना के लिए कुल 187 मकान-दुकानें चिह्नित की गई हैं और इनके लिए करीब 191 करोड़ रुपये का मुआवजा तय किया गया है. अभी तक सिर्फ 14 दुकानदारों ने मुआवजा स्वीकार कर लिखित सहमति दी है, इसलिए सबसे पहले इन्हीं की संपत्तियां तोड़ी जा रही हैं. अब तक दो मकान पूरी तरह गिराए जा चुके हैं, आज दो और पर कार्रवाई हुई.

215.88 करोड़ रुपये की लागत वाली इस परियोजना में दालमंडी को वाराणसी की सबसे सुंदर सड़क बनाने का दावा किया जा रहा है. काशी विश्वनाथ मंदिर के गेट नंबर-4 से महज 100 मीटर दूर यह सड़क बनेगी, जिसके दोनों तरफ 3.2 मीटर चौड़े हरियाली युक्त फुटपाथ होंगे. प्रशासन ने इसका 3D मॉडल वीडियो भी जारी किया है, जिसमें दिल्ली और बेंगलुरु जैसी आधुनिक सड़क दिखाई गई है.
व्यापारियों और स्थानीय लोगों का आरोप है कि 31 मार्च को शासनादेश आने के बाद किसी अधिकारी ने उनसे कोई बात तक नहीं की. 11 नवंबर को समाजवादी पार्टी के चंदौली सांसद वीरेंद्र सिंह मस्त ने व्यापारियों से मुलाकात कर अधिक मुआवजा और दुकानें न गिराने की मांग उठाई थी. परियोजना पूरी होने पर काशी विश्वनाथ मंदिर के ठीक सामने विश्वस्तरीय सड़क श्रद्धालुओं को मिलेगी, मगर फिलहाल हथौड़ों की गूंज और धूल के बीच व्यापारियों का मौन विरोध जारी है.





