
वाराणसीः आपरेशन टार्च के दौरान पिछले दिनों शहर में चिह्नित किए गए 500 रोहिंग्या और बांग्लादेशी घुसपैठियों की पहचान के लिए वाराणसी कमिश्नरेट पुलिस की दो टीमों को असम और पश्चिम बंगाल भेजी गई है. 7 दिसंबर से 1शुरू अभियान के दौरान पुलिस ने जनपद के लगभग सभी थाना क्षेत्रों की झुग्गी-झोपड़ी क्षेत्रों में जांच की थी. इस दौरान सैकड़ों संदिग्ध व्यक्तियों का पता लगाया है जो घुसपैठिए हो सकते हैं. मजे की बीत य.ह रही है कि जांच के दौरान झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले ज्दायातार बंगलादेशियों के पास से आधीर कार्ड संग वोॉर आईडी तक मिले . आधारा कार्ड पर ज्यादातर पता आसाम व पशिचम बंगाल की वीरभूमि जिला मिला है. इन सबकों आधारा बनाकर संदिग्धों की असली पहचान करने के लिए पुलिस की टीम आसाम व पशिचम बंगाल में जांच कर रही है.
कई परिवार घर छोड़कर भागे

गौरतलब है कि आपरेशन टार्च के दौरान पुलिस की टीम ने जब अस्थायी रूप से झुग्गी-झोपड़ी में रहने वालों की जांच शुरू की तो चोलापुर, सिगरा, कैंट, लालपुर आधि क्षेत्रों में रहने वाले कई परिवार अपने घर छोड़कर भाग निकले. जानकारी मिलने पर पुलिस ने अपनी सतर्कता और भी बढ़ा दी है. इस तरह के लोगों के भाग निकलने घटना को एसआइआर के गणना प्रपत्र भरने के अभियान के रूप में भी देखा जा रहा है. बता दें कि पिछले दिनों पुलिस की टीम सिगरा के शिवपुरवा स्थित सपा नेता ओपी सिंह के हाता में रहने वाले संदिग्ध व्यक्तियों का सत्यापन करने पहुंची थी. उस दौरान अधिकांश संदिग्धों ने अपने को पश्चिम बंगाल का मूल निवासी बताते हुए उपने कागजात दिखाए थे. इसी को आधार बनाकर तथा अन्य क्षेत्रों से मिली जानकारी की सच्चाई को पुष्ट करने के लिए पुलिस की टीम असम और पश्चिम बंगाल में पड़ताल कर रही है. पुलिस सूत्रों की माने टीमों को वहां से लौटने के बाद ही स्थिति स्पष्ट हो पाएगी.




