
वाराणसी - पूर्वांचल सहित वाराणसी में अब धीरे धीरे गलन और कोहरा प्रगाढ़ होता जा रहा है. एक बार फिर से सोमवार को पारा दस डिग्री से नीचे लुढ़क गया और गलन का असर नजर आने लगा. शहर तो नहीं लेकिन अंचलों में सुबह देर तक कोहरे का असर स्पष्ट नजर आया. हालांकि नौ बजे के बाद सूरज के ताप के असर से कोहरा और कुहासा पूरी तरह से छंट गया;
पहाड़ों पर एक बार फिर से पश्चिमी विक्षोभ का असर दिखने लगा है. इसकी वजह से मैदानी क्षेत्रों में दो दिन बाद गलन का व्यापक असर शुरू हो जाएगा. मौसम विभाग ने हालांकि मौसम में बहुत अधिक बदलाव की उम्मीद नहीं जताई है. लेकिन पछुआ हवाओं का जोर बना रहा तो गलन का व्यापक असर नजर आने लगेगा. इसी के साथ ही मैदानी क्षेत्रों में और पूर्वांचल में कोहरे का असर नजर आने लगेगा.
गीजर, हीटर, अलाव और रैनबसेरा

घरों में जहां पंखे बंद होने के बाद कंबल ने रजाई ओढ़ ली है तो दूसरी ओर घरों में अब गीजर और हीटर भी जलने लगे हैं. दूसरी ओर बिजली की खपत में कमी आने के बाद बिजली व्यवस्था दुरुस्त है तो घरों में हीटर अब राहत देने लगा है. जबकि विभाग की ओर से आपूर्ति दुरुस्त करने की तैयारियां लगातार जारी है. जबकि रैन बसेरा और चौराहों व रेलवे, बस स्टैंडों पर अलाव की व्यवस्था शुरू कर दी गई है.
बीते चौबीस घंटों में अधिकतम तापमान 24.8°C दर्ज किया गया जो सामान्य से 1.1 डिग्री कम रहा. न्यूनतम तापमान 9.5°C दर्ज किया गया जो सामान्य से 2.0 डिग्री कम रहा. आर्द्रता इस दौरान अधिकतम 79% और न्यूनतम 64% दर्ज की गई. मौसम विभाग की ओर से जारी सैटेलाइट तस्वीरों में कश्मीर से होकर बादलों का असर पश्चिमी विक्षोभ के तौर पर गुजर रहा है. इसकी वजह से पहाड़ों पर भारी बर्फबारी की उम्मीद है. इसके बाद गलन भरी हवाओं का जोर पूर्वांचल और मैदानी क्षेत्रों में नजर आने लगेगा.




