वाराणसी : पद्मश्री हॉकी खिलाड़ी मोहम्मद शाहिद की पत्नी परवीन शाहिद ने अपने जेठ रियाजुद्दीन पर मारपीट का गंभीर आरोप लगाते हुए कचहरी पुलिस चौकी में शिकायत दर्ज कराई है. परवीन का आरोप है कि दो दिन पहले सड़क चौड़ीकरण के लिए उनके पैतृक मकान का एक हिस्सा बुलडोजर से ढहाए जाने के बाद बचे सामान को निकालने गईं, तो जेठ ने विरोध किया और गला पकड़ उन्हें घर से बाहर कर दिया.
परवीन शाहिद ने पुलिस को दिए बयान में कहा, “मेरे पति ने बनवाया यह पुश्तैनी मकान सड़क चौड़ीकरण की जद में आ गया. रविवार को प्रशासन ने घर के एक हिस्से को गिरा दिया, जिसके बाद हमने मुआवजा स्वीकार कर लिया. लेकिन जेठ रियाजुद्दीन और सिराजुद्दीन अभी भी मकान में काबिज हैं.” उन्होंने आगे बताया कि बुलडोजर कार्रवाई के दौरान पति के कुछ सामान निकालने गई थीं, लेकिन मंगलवार को बाकी सामान लेने दोबारा पहुंचीं तो रियाजुद्दीन ने हंगामा किया.
पुलिस को दी तहरीर
परवीन ने कैंट इंस्पेक्टर शिवाकांत मिश्रा को सूचना दी, जो मौके पर पहुंचे और सामान निकालने की इजाजत दी. इस बीच जैसे ही इंस्पेक्टर गए, रियाजुद्दीन ने परवीन पर हमला बोल दिया. “उन्होंने कहा कि मकान गिरवाने में मेरा हाथ है, फिर मेरी गर्दन पकड़कर बाहर धकेल दिया.” इसके बाद परवीन ने बेटे को बुलाया और कचहरी चौकी पहुंचकर तहरीर दी. पहले वह कैंट थाने गईं, जहां से उन्हें चौकी भेजा गया.
मकान पर चला था बुल्डोेजर
रविवार को कचहरी से संदहा तक फोर-लेन सड़क चौड़ीकरण के तहत 13 मकानों और दुकानों पर बुलडोजर चला, जिसमें मोहम्मद शाहिद के पैतृक मकान का एक हिस्सा भी शामिल था. एडीएम सिटी आलोक वर्मा ने बताया, “शाहिद के मकान में नौ शेयरधारक थे. छह ने मुआवजा ले लिया, जबकि तीन ने स्टे लिया है, इसलिए उनका हिस्सा अछूता रहा. कुल 71 लोगों को 3.52 करोड़ रुपये का मुआवजा वितरित किया गया है.” दो महीने पहले भी इसी अभियान में 30-40 संरचनाएं हटाई गईं थीं. परिवार ने कार्रवाई के दौरान शादी समारोह का हवाला देकर मोहलत मांगी थी, लेकिन प्रशासन ने चेतावनी जारी कर कार्रवाई की. विपक्षी दलों ने इसे ‘महान हस्ती का अपमान’ बताते हुए निंदा की है. पुलिस ने शिकायत दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.