
वाराणसी - संतान की चाहत में आंगनबाडी महिला अनुपमा पटेल ने अपनी ही हत्या की पटकथा लिख डाली. उसने अपनी दुकान से दूध खरीदने वाले मोहित यादव को पहले प्रेम में फांसने की कोशिश की. जब वह कामयाब नहीं हुई, तो उसने जबरदस्ती का रास्ता अपनाते हुए मोहित को फर्जी केस में जेल भेजवाने की धमकी देने लगी. मोहित जब दूध लेने आता, तो अनुपमा उसे फंसाने की धमकी देती. अपने साथ संबंध बनाने के लिए पैसे का भी लालच देती.
घर लौटने पर उसकी पत्नी अंजलि चौहान उससे ढेरों सवाल करती. रोजाना के तनाव को मोहित ने अंजलि के साथ साझा किया, जिसके बाद दोनों ने अनुपमा को रास्ते से हटाने की साजिश रची. सुनियोजित तरीके से वारदात को अंजाम दिया और भाग निकले. शिवपुर पुलिस ने सीसीटीवी कैमरे की फुटेज खंगाली, जिसमें दंपती रेकी करते हुए दिखाई दिए. जब पुलिस ने उन्हें पकड़ने का प्रयास किया, तो अनुपमा के मर्डर का रहस्य उजागर हो गया. पुलिस ने मोहित और उसकी पत्नी अंजली चौहान को गिरफ्तार कर लिया. लिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल ने पुलिस टीम को 50 हजार रुपये इनाम की घोषणा की.
लक्ष्मणपुर गांव के शैलेश पटेल दूध की एजेंसी चलाते हैं. उनकी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पत्नी अनुपमा घर से दूध बेचती थी. गुरुवार सुबह शैलेश दूध लाने तड़के पांच बजे घर से निकले. दिन में दस बजे लौटे तो एक कमरे में पत्नी का शव खून से सना पड़ा मिला. पुलिस पहुंची तो स्वजन ने कहा कि उनकी किसी से दुश्मनी नहीं है. पुलिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल ने तथ्यों के आधार पर जांच आगे बढ़ाने की बात कही.
पुलिस ने सीसीटीवी कैमरा खंगाला, जिसमें लक्ष्मणपुर गांव के शारदा विहार कालोनी में किराए पर रहने वाला बसही निवासी मोहित यादव अपनी पत्नी अंजलि के साथ कई बार आते-जाते दिखा. इस क्लू के सहारे पुलिस ने जांच आगे बढ़ाई और दंपती शिवपुर रेलवे स्टेशन पर पकड़ में आ गया. उनके पास से अनुपमा के घर से लूटे गए 73,640 रुपये, जेवरात और कुछ दस्तावेज बरामद हुए.
आरोपित मोहित ने बताया कि उसने हत्या से पूर्व अनुपमा को समझाने की कोशिश की, लेकिन जब वह नहीं मानी, तो उसने पत्थर की सील और स्टील के ड्रम से सिर पर प्रहार कर हत्या की. वहां से निकलने के बाद, अंजलि ने मोहित के कपड़ों पर खून लगा देख अपनी शाल से ढक दिया और दोनों टेंपो पकड़कर पांडेयपुर के काली माता मंदिर के समीप स्थित होम स्टे पहुंचे, जहां उन्हें पकड़ा गया. मामले की जांच में प्रभारी निरीक्षक वीरेन्द्र सोनकर, दारोगा कृष्ण सरोज, गौरव सिंह, विद्या सागर चौरसिया, भूपेन्द्र कुमार, प्रतिभा शाही, हेड कांस्टेबल लवकुश, राम बाबू, कांस्टेबल पिंकी गौड़, नितेश तिवारी और बाल मुकुंद मौर्या शामिल रहे.




