
वाराणसी: चार साल पहले हुए नेशनल लेवल शूटर विशाल सिंह पर जानलेवा हमले के मामले में अदालत ने शुक्रवार को अहम फैसला सुनाया. स्पेशल जज भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम कोर्ट ने 11 आरोपियों को दोषी करार दिया है. अब सभी दोषियों की सजा 15 सितंबर को सुनाई जाएगी. इस फैसले के बाद पूरे शहर में उस सनसनीखेज गोलीकांड की चर्चा एक बार फिर तेज हो गई है, जिसने न सिर्फ एक खिलाड़ी की जिंदगी खतरे में डाली थी बल्कि इलाके में दहशत भी फैला दी थी.

अचानक चली गोली, दहशत में डूबा इलाका
मामला सितंबर 2021 का है. इंग्लिशिया लाइन निवासी नेशनल शूटर विशाल कुमार सिंह उस दिन दूध डेयरी के बाहर खड़े होकर एक परिचित से बातचीत कर रहे थे. तभी नकाबपोश बदमाश पीछे से आया और पिस्टल सटाकर उनके पेट में गोली दाग दी. गोली लगते ही विशाल वहीं गिर पड़े और तड़पने लगे. हमलावर ने दूसरी गोली चलाने की भी कोशिश की, लेकिन मौके पर मौजूद एक युवक ने उसे पकड़ लिया. किसी तरह हाथ छुड़ाकर हमलावर भाग निकला. अचानक हुई वारदात से पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई और खुली दुकानें तुरंत बंद हो गईं.

इलाज और परिजनों की शिकायत
गंभीर रूप से घायल विशाल को पहले सिंह मेडिकल अस्पताल ले जाया गया. हालत बिगड़ने पर उन्हें वेदांता गुड़गांव रेफर किया गया, जहां उनका ऑपरेशन और लंबा इलाज चला. घटना के बाद उनके पिता अशोक कुमार सिंह ने 12 लोगों के खिलाफ हत्या का प्रयास, लूट और साजिश रचने की धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया था.
होटल कारोबारियों से विवाद
पुलिस की जांच में चौंकाने वाली बातें सामने आईं पता चला कि विशाल सिंह विजयनगरम मार्केट स्थित कुछ होटलों में चल रही अवैध गतिविधियों का विरोध करते थे. उन्होंने कई बार अधिकारियों से शिकायत भी की थी. यही बात होटल कारोबारियों को नागवार गुजरी और उन्होंने साजिश रचकर उसपर हमला करवाया.
हत्या के प्रयास का मुख्य आरोप सरफराज, वसीम, परवेज, शाहजहां, नुसरत नूरानी, जैनुलहक, अनुज, अनूप, रतन, रवि, तौफीक और पंकज गुप्ता पर लगा. जांच में यह भी सामने आया कि पंकज गुप्ता ने विशाल को धमकी दी थी और उसी के इशारे पर गोली चलाई गई.
कोर्ट की सुनवाई और फैसला
चार्जशीट दाखिल होने के बाद मामले की ट्रायल कोर्ट में सुनवाई शुरू हुई. अभियोजन की ओर से कुल 12 गवाह पेश किए गए. गवाहों के बयान, पुलिस रिपोर्ट और साक्ष्यों को देखते हुए अदालत ने सभी 11 आरोपितों को दोषी ठहराया. गौरतलब है कि आरोपित अनूप गुप्ता उर्फ चंकी की विचारण के दौरान मौत हो गई थी, इसलिए उनके खिलाफ मुकदमा समाप्त हो गया.
अगला कदम: 15 सितंबर को सजा
अब अदालत 15 सितंबर को इन 11 दोषियों को सजा सुनाएगी. इस ऐतिहासिक फैसले का लोगों को बेसब्री से इंतजार है. लोग जानना चाहते हैं कि आखिरकार जिन लोगों ने एक खिलाड़ी की जान लेने की साजिश रची, उन्हें अदालत किस हद तक सख्त सजा सुनाती है.
यह मामला सिर्फ एक खिलाड़ी पर हमले का नहीं था, बल्कि कानून-व्यवस्था और समाज में अपराधियों के हौसले पर भी सवाल उठता था. अब कोर्ट के इस फैसले से पीड़ित परिवार और स्थानीय लोग न्याय की उम्मीद लगाए बैठे हैं.





